भारत में क्रिकेट की तरह कोरिया में तीरंदाजी की लोकप्रियता: ब्रैडी एलिसन

 अमेरिका के दिग्गज तीरंदाज ब्रैडी एलिसन ने कहा कि दक्षिण कोरिया की तीरंदाजी में बादशाहत वहां के पेशेवर ढांचे का परिणाम है जहां इस खेल की लोकप्रियता की तुलना भारत में क्रिकेट की तरह है। कोरिया का दबदबा पेरिस 2024 ओलंपिक में भी कायम रहा जहां महिलाओं की टीम ने लगातार 10वां ओलंपिक स्वर्ण पदक जीता। कोरिया की महिला टीम 1988 सियोल ओलंपिक से अब तक अजेय रही है। पुरुष वर्ग में किम वू-जिन ने अपने करियर का पांचवां ओलंपिक स्वर्ण पदक जीता जो किसी भी तीरंदाज द्वारा सबसे ज्यादा है। पांच बार के ओलंपियन एलिसन ने दिल्ली में आयोजित तीरंदाजी प्रीमियर लीग (एपीएल) से इतर ‘पीटीआई’ को दिये विशेष साक्षात्कार में कहा, ‘‘ कोरिया दुनिया का इकलौता देश है जहां तीरंदाजी के लिए समर्पित पेशेवर प्रणाली है। उनके हर तीरंदाज का मुख्य पेशा यह है और उनकी रोजी रोटी इस खेल से चलती है,। इस बात से कोई फर्क नहीं पड़ता की वह तीरंदाज राष्ट्रीय टीम में हो या नहीं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘वहां तीरंदाजी वैसी है जैसे भारत में क्रिकेट या अमेरिका में फुटबॉल। बच्चे काफी कम उम्र से ही पेशेवर तीरंदाज बनने का सपना देखते हैं। उनके 50वें रैंक के खिलाड़ी की आमदनी शायद मुझसे ज्यादा है।’’  एलिसन ने कहा कि कोरिया में तीरंदाज ओलंपिक की तैयारी करने वाले नहीं, बल्कि पूर्णकालिक पेशेवर माने जाते हैं। उन्होंने कहा, ‘‘ वहां बच्चे पांच-छह साल की उम्र से ही तीरंदाज बनने का सपना देखने लगते हैं। यही उनका जुनून और मुख्य खेल बन जाता है। बाकी जगहों पर लोग सिर्फ ओलंपिक टीम में आने के लिए इस खेल से जुड़ते हैं।कोरिया में तीरंदाज इसे अपना करियर बनाते हैं। यही उन्हें जिंदगी में स्थिरता और सफलता दिलाता है।’’ एलिसन रिकर्व तीरंदाजी में अगस्त 2011 से अप्रैल 2013 तक सबसे अधिक समय के लिए शीर्ष रैंकिंग के खिलाड़ी रहे हैं। ओलंपिक में पांच पदक के साथ वैश्विक प्रतियोगिताओं में 60 से अधिक पदक जीतने वाले एलिसन का मानना है कि भारत हमेशा ओलंपिक पदक की दौड़ में रहता है। उन्होंने कहा, ‘‘भारत के पास विश्व कप और चैंपियनशिप में ढेरों पदक हैं। अगर आप अपने सर्वश्रेष्ठ दो रिकर्व तीरंदाजों को मिश्रित टीम में उतारें, तो उन्हें हराना बहुत मुश्किल होगा।” लॉस एंजिलिस 2028 ओलंपिक में पहली बार कंपाउंड मिश्रित टीम स्पर्धा को शामिल किया जायेगा। उन्होंने कहा, ‘‘ भारत की पदक की संभावना सिर्फ कंपाउंड में नहीं बल्कि रिकर्व में भी काफी अधिक है। अभी कई भारतीय तीरंदाज बेहतरीन प्रदर्शन कर रहे हैं। ओलंपिक अभी तीन साल दूर है, लेकिन भारत सही दिशा में आगे बढ़ रहा है।’’ एलिसन ने किसिक ली की भारत के नए रिकर्व मुख्य कोच के रूप में संभावित नियुक्ति का स्वागत करते हुए कहा, ‘‘ वह दुनिया के सबसे अच्छे कोच में से एक है। उन्होंने जहां भी काम किया है वहां ओलंपिक पदक और विश्व चैंपियन दिए हैं। यह भारत के लिए बहुत बड़ा फायदा होगा।’’ एलिसन खुद अपने करियर के शुरुआती दौर में कोच किसिक ली के मार्गदर्शन में ट्रेनिंग ले चुके हैं।

Oct 8, 2025 - 17:06
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भारत में क्रिकेट की तरह कोरिया में तीरंदाजी की लोकप्रियता: ब्रैडी एलिसन

 अमेरिका के दिग्गज तीरंदाज ब्रैडी एलिसन ने कहा कि दक्षिण कोरिया की तीरंदाजी में बादशाहत वहां के पेशेवर ढांचे का परिणाम है जहां इस खेल की लोकप्रियता की तुलना भारत में क्रिकेट की तरह है। कोरिया का दबदबा पेरिस 2024 ओलंपिक में भी कायम रहा जहां महिलाओं की टीम ने लगातार 10वां ओलंपिक स्वर्ण पदक जीता।

कोरिया की महिला टीम 1988 सियोल ओलंपिक से अब तक अजेय रही है। पुरुष वर्ग में किम वू-जिन ने अपने करियर का पांचवां ओलंपिक स्वर्ण पदक जीता जो किसी भी तीरंदाज द्वारा सबसे ज्यादा है।

पांच बार के ओलंपियन एलिसन ने दिल्ली में आयोजित तीरंदाजी प्रीमियर लीग (एपीएल) से इतर ‘पीटीआई’ को दिये विशेष साक्षात्कार में कहा, ‘‘ कोरिया दुनिया का इकलौता देश है जहां तीरंदाजी के लिए समर्पित पेशेवर प्रणाली है। उनके हर तीरंदाज का मुख्य पेशा यह है और उनकी रोजी रोटी इस खेल से चलती है,। इस बात से कोई फर्क नहीं पड़ता की वह तीरंदाज राष्ट्रीय टीम में हो या नहीं।’’

उन्होंने कहा, ‘‘वहां तीरंदाजी वैसी है जैसे भारत में क्रिकेट या अमेरिका में फुटबॉल। बच्चे काफी कम उम्र से ही पेशेवर तीरंदाज बनने का सपना देखते हैं। उनके 50वें रैंक के खिलाड़ी की आमदनी शायद मुझसे ज्यादा है।’’

 एलिसन ने कहा कि कोरिया में तीरंदाज ओलंपिक की तैयारी करने वाले नहीं, बल्कि पूर्णकालिक पेशेवर माने जाते हैं। उन्होंने कहा, ‘‘ वहां बच्चे पांच-छह साल की उम्र से ही तीरंदाज बनने का सपना देखने लगते हैं। यही उनका जुनून और मुख्य खेल बन जाता है। बाकी जगहों पर लोग सिर्फ ओलंपिक टीम में आने के लिए इस खेल से जुड़ते हैं।

कोरिया में तीरंदाज इसे अपना करियर बनाते हैं। यही उन्हें जिंदगी में स्थिरता और सफलता दिलाता है।’’ एलिसन रिकर्व तीरंदाजी में अगस्त 2011 से अप्रैल 2013 तक सबसे अधिक समय के लिए शीर्ष रैंकिंग के खिलाड़ी रहे हैं। ओलंपिक में पांच पदक के साथ वैश्विक प्रतियोगिताओं में 60 से अधिक पदक जीतने वाले एलिसन का मानना है कि भारत हमेशा ओलंपिक पदक की दौड़ में रहता है।

उन्होंने कहा, ‘‘भारत के पास विश्व कप और चैंपियनशिप में ढेरों पदक हैं। अगर आप अपने सर्वश्रेष्ठ दो रिकर्व तीरंदाजों को मिश्रित टीम में उतारें, तो उन्हें हराना बहुत मुश्किल होगा।” लॉस एंजिलिस 2028 ओलंपिक में पहली बार कंपाउंड मिश्रित टीम स्पर्धा को शामिल किया जायेगा।

उन्होंने कहा, ‘‘ भारत की पदक की संभावना सिर्फ कंपाउंड में नहीं बल्कि रिकर्व में भी काफी अधिक है। अभी कई भारतीय तीरंदाज बेहतरीन प्रदर्शन कर रहे हैं। ओलंपिक अभी तीन साल दूर है, लेकिन भारत सही दिशा में आगे बढ़ रहा है।’’

एलिसन ने किसिक ली की भारत के नए रिकर्व मुख्य कोच के रूप में संभावित नियुक्ति का स्वागत करते हुए कहा, ‘‘ वह दुनिया के सबसे अच्छे कोच में से एक है। उन्होंने जहां भी काम किया है वहां ओलंपिक पदक और विश्व चैंपियन दिए हैं। यह भारत के लिए बहुत बड़ा फायदा होगा।’’ एलिसन खुद अपने करियर के शुरुआती दौर में कोच किसिक ली के मार्गदर्शन में ट्रेनिंग ले चुके हैं।