ब्रह्मेश्वर मुखिया के अपमान पर भूमिहार समाज का विरोध:गोपालगंज में लालू यादव और राजद प्रवक्ता का पुतला दहन, विरोध में लगे नारे

राजद प्रवक्ता सारिका पासवान द्वारा दिए गए एक बयान को लेकर भूमिहार समाज में आक्रोश फैल गया है। वीर ब्रह्मेश्वर मुखिया के कथित अपमान के विरोध में गोपालगंज पोस्ट ऑफिस चौक पर जोरदार प्रदर्शन किया गया। राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव और प्रवक्ता सारिका पासवान का पुतला दहन किया गया। इस दौरान मौके पर मौजूद दर्जनों की संख्या में लोगों ने "वीर ब्रह्मेश्वर अमर रहें", "लालू यादव मुर्दाबाद", और "राजद होश में आओ" जैसे नारे लगाए। ब्रह्मेश्वर मुखिया पर टिप्पणी को बताया निंदनीय कार्यक्रम का नेतृत्व कर रहे समाज के प्रतिनिधि बाल्मीकि कुमार, सोनू सिंह और अमरजीत शाही ने कहा कि सारिका पासवान द्वारा ब्रह्मेश्वर मुखिया पर की गई टिप्पणी निंदनीय है। उन्होंने आरोप लगाया कि राजद ने बयान के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं कर अपने प्रवक्ता का परोक्ष रूप से समर्थन किया है। बुद्धिजीवी समाज हैं, लेकिन अपमान बर्दाश्त नहीं - समाज प्रतिनिधि समाज के प्रतिनिधि और वक्ताओं ने कहा, "हम भूमिहार समाज से हैं, जो हमेशा ज्ञान और न्याय का पक्षधर रहा है, लेकिन वीर ब्रह्मेश्वर मुखिया के अपमान को चुपचाप सहन नहीं किया जा सकता। अगर राजद खुद को न्यायप्रिय बताता है, तो उसे तुरंत अपने प्रवक्ता पर कार्रवाई करनी चाहिए।" राजद शासनकाल की घटनाओं का उल्लेख वक्ताओं ने राजद शासनकाल को ‘जंगल राज’ करार देते हुए बारा, बथानीटोला, लक्ष्मणपुर बाथे, सेनारी, मियापुर, शंकर बीघा जैसे नरसंहारों की याद दिलाई। उन्होंने कहा कि "लालू प्रसाद यादव के समय बिहार में कानून व्यवस्था ध्वस्त हो चुकी थी। आज वही राजद फिर से बिहार को जातीय संघर्ष की ओर धकेलना चाहता है।" वीर ब्रह्मेश्वर को बताया नक्सल विरोधी आंदोलन का नायक सभा में मौजूद युवाओं ने कहा कि आज का बिहार बदल चुका है। "यह 90 का दशक नहीं है, अब बिहार संविधान और कानून से चलेगा, न कि जातीय ध्रुवीकरण से।" वक्ताओं ने कहा कि ब्रह्मेश्वर मुखिया ने बिहार को नक्सल मुक्त करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। उनके सम्मान से समझौता नहीं किया जा सकता।

Jun 28, 2025 - 22:40
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ब्रह्मेश्वर मुखिया के अपमान पर भूमिहार समाज का विरोध:गोपालगंज में लालू यादव और राजद प्रवक्ता का पुतला दहन, विरोध में लगे नारे
राजद प्रवक्ता सारिका पासवान द्वारा दिए गए एक बयान को लेकर भूमिहार समाज में आक्रोश फैल गया है। वीर ब्रह्मेश्वर मुखिया के कथित अपमान के विरोध में गोपालगंज पोस्ट ऑफिस चौक पर जोरदार प्रदर्शन किया गया। राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव और प्रवक्ता सारिका पासवान का पुतला दहन किया गया। इस दौरान मौके पर मौजूद दर्जनों की संख्या में लोगों ने "वीर ब्रह्मेश्वर अमर रहें", "लालू यादव मुर्दाबाद", और "राजद होश में आओ" जैसे नारे लगाए। ब्रह्मेश्वर मुखिया पर टिप्पणी को बताया निंदनीय कार्यक्रम का नेतृत्व कर रहे समाज के प्रतिनिधि बाल्मीकि कुमार, सोनू सिंह और अमरजीत शाही ने कहा कि सारिका पासवान द्वारा ब्रह्मेश्वर मुखिया पर की गई टिप्पणी निंदनीय है। उन्होंने आरोप लगाया कि राजद ने बयान के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं कर अपने प्रवक्ता का परोक्ष रूप से समर्थन किया है। बुद्धिजीवी समाज हैं, लेकिन अपमान बर्दाश्त नहीं - समाज प्रतिनिधि समाज के प्रतिनिधि और वक्ताओं ने कहा, "हम भूमिहार समाज से हैं, जो हमेशा ज्ञान और न्याय का पक्षधर रहा है, लेकिन वीर ब्रह्मेश्वर मुखिया के अपमान को चुपचाप सहन नहीं किया जा सकता। अगर राजद खुद को न्यायप्रिय बताता है, तो उसे तुरंत अपने प्रवक्ता पर कार्रवाई करनी चाहिए।" राजद शासनकाल की घटनाओं का उल्लेख वक्ताओं ने राजद शासनकाल को ‘जंगल राज’ करार देते हुए बारा, बथानीटोला, लक्ष्मणपुर बाथे, सेनारी, मियापुर, शंकर बीघा जैसे नरसंहारों की याद दिलाई। उन्होंने कहा कि "लालू प्रसाद यादव के समय बिहार में कानून व्यवस्था ध्वस्त हो चुकी थी। आज वही राजद फिर से बिहार को जातीय संघर्ष की ओर धकेलना चाहता है।" वीर ब्रह्मेश्वर को बताया नक्सल विरोधी आंदोलन का नायक सभा में मौजूद युवाओं ने कहा कि आज का बिहार बदल चुका है। "यह 90 का दशक नहीं है, अब बिहार संविधान और कानून से चलेगा, न कि जातीय ध्रुवीकरण से।" वक्ताओं ने कहा कि ब्रह्मेश्वर मुखिया ने बिहार को नक्सल मुक्त करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। उनके सम्मान से समझौता नहीं किया जा सकता।