Russia में घुसे तालिबानी ट्रकों ने मचाया ऐसा तहलका, भारत भी हैरान!

तालिबान ने ट्रकों ने पाकिस्तान में भयंकर बवाल मचा दिया है। तालिबान के ये ट्रक अचानक रूस पहुंच गए हैं। इन ट्रकों को रूस भेज कर तालिबान ने रूस के ही दो एयर डिफेंस सिस्टम को पाकिस्तान की सीमा के पास एक्टिवेट भी कर दिया है। अफगानिस्तान के तालिबान ने जो सामान भरकर इन ट्रकों को रूस भेजा है, उसने पाकिस्तान को गहरे जख्म दिए हैं। भारत को खुश होने का मौका मिल गया है क्योंकि पाकिस्तान से निपटने के लिए अफगानिस्तान के तालिबान ने भारत के ही एक बेहद शानदार फॉर्मूले पर काम करना शुरू कर दिया है। लेकिन गौर करने वाली बात ये है कि ये सबकुछ ऐसे वक्त में हो रहा है जब पाकिस्तान अपनी सुरक्षा की गारंटी के लिए तालिबान को कतर के बाद तुर्कीए लेकर पहुंच गया। तालिबान के हाथ बांधने के लिए पाकिस्तान कई मुस्लिम देशों के संपर्क में है। पाकिस्तान कई मुस्लिम देशों का सहारा लेकर तालिबान पर सीजफायर का प्रेशर बना रहा है।इसे भी पढ़ें: क्या है डूरंड रेखा विवाद, जिसको लेकर काबुल से पाकिस्तान पर फतह का आया तालिबानी फरमानलेकिन पहले तो पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच  तुर्किए की राजधानी इस्तांबुल में अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच 15 घंटे से ज्यादा चली शांति वार्ता आखिरकार बेनतीजा रहने की खबर सामने आई। अब खबर है कि तालिबान ने पाकिस्तान पर हमला करने का नायाब तरीका निकाल लिया है। आपको बता दें कि जिस दिन से अफगानिस्तान में भारत ने अपने टेक्निकल मिशन का दर्जा बढ़ाकर उसे दूतावास बना दिया। उसी दिन से पाकिस्तान तालिबान के पीछे हाथ धोकर पड़ा है। लेकिन तालिबान ने पाकिस्तान को कुचलने के लिए ये ट्रक सड़कों पर दौरा दिए। तालिबान ने इन ट्रकों को एक बड़े कूटनीतिक हथियार की तरह इस्तेमाल किया है। दरअसल, पाकिस्तान को अलग थलग करने के लिए तालिबान ने 30 साल बाद सड़क के रास्ते रूस में 25 टन अनार भेज दिए। इसे भी पढ़ें: पहले ठोका, फिर 15 घंटे तक रगड़वाई नाक, फिर भी नहीं माना तालिबान, तुर्किए में पाकिस्तान की हो गई दवाई!तालिबान द्वारा संचालित कृषि मंत्रालय ने बताया कि कंधार से अनार की पहली खेप सोमवार को रूस को निर्यात की गई, जिसमें 25 मीट्रिक टन अनार उत्तर-पश्चिमी अफ़गानिस्तान में तोरघुंडी सीमा पार से भेजे गए। मंत्रालय ने आगे कहा कि इस पहल का उद्देश्य रूसी आयातकों के साथ दीर्घकालिक वाणिज्यिक संबंध स्थापित करना है। मंत्रालय के अनुसार, लगभग 25,000 डॉलर मूल्य की इस पायलट खेप का उपयोग रूसी बाजार में मांग और रसद व्यवहार्यता का आकलन करने के लिए किया जाएगा। मंत्रालय ने आगे कहा कि यदि प्रारंभिक चरण सफल रहा, तो फसल के मौसम के अंत तक 250 टन तक कंधार अनार रूस को निर्यात किए जाएँगे।इसे भी पढ़ें: Pakistan के साथ हो गया बड़ा खेल, 25000 सैनिक उठा ले गया सऊदी अरबकंधार कृषि विभाग के एक तालिबान प्रवक्ता ने कहा कि यह पहली बार है जब हमारे अनार रूसी उपभोक्ताओं तक पहुँच रहे हैं। यह अफ़गानिस्तान के फल निर्यात में विविधता लाने और नए व्यापार गलियारे खोलने की दिशा में एक बड़ा कदम है। दक्षिणी अफ़गानिस्तान, खासकर कंधार के अनार, अपनी गुणवत्ता और स्वाद के लिए प्रसिद्ध हैं। इस बीच, कंधार चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इन्वेस्टमेंट ने पुष्टि की है कि कंधार अनार की पहली खेप प्रांत से रूस भेज दी गई है। चैंबर ने बताया कि इस साल रूस को 200 टन तक अनार निर्यात किए जाने की उम्मीद है। यह घटनाक्रम ऐसे समय में हुआ है जब अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच वाणिज्यिक सीमा पार बंद होने के बाद कंधार से पाकिस्तान को अनार का निर्यात रोक दिया गया है। 

Oct 28, 2025 - 18:45
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Russia में घुसे तालिबानी ट्रकों ने मचाया ऐसा तहलका, भारत भी हैरान!

तालिबान ने ट्रकों ने पाकिस्तान में भयंकर बवाल मचा दिया है। तालिबान के ये ट्रक अचानक रूस पहुंच गए हैं। इन ट्रकों को रूस भेज कर तालिबान ने रूस के ही दो एयर डिफेंस सिस्टम को पाकिस्तान की सीमा के पास एक्टिवेट भी कर दिया है। अफगानिस्तान के तालिबान ने जो सामान भरकर इन ट्रकों को रूस भेजा है, उसने पाकिस्तान को गहरे जख्म दिए हैं। भारत को खुश होने का मौका मिल गया है क्योंकि पाकिस्तान से निपटने के लिए अफगानिस्तान के तालिबान ने भारत के ही एक बेहद शानदार फॉर्मूले पर काम करना शुरू कर दिया है। लेकिन गौर करने वाली बात ये है कि ये सबकुछ ऐसे वक्त में हो रहा है जब पाकिस्तान अपनी सुरक्षा की गारंटी के लिए तालिबान को कतर के बाद तुर्कीए लेकर पहुंच गया। तालिबान के हाथ बांधने के लिए पाकिस्तान कई मुस्लिम देशों के संपर्क में है। पाकिस्तान कई मुस्लिम देशों का सहारा लेकर तालिबान पर सीजफायर का प्रेशर बना रहा है।

इसे भी पढ़ें: क्या है डूरंड रेखा विवाद, जिसको लेकर काबुल से पाकिस्तान पर फतह का आया तालिबानी फरमान

लेकिन पहले तो पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच  तुर्किए की राजधानी इस्तांबुल में अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच 15 घंटे से ज्यादा चली शांति वार्ता आखिरकार बेनतीजा रहने की खबर सामने आई। अब खबर है कि तालिबान ने पाकिस्तान पर हमला करने का नायाब तरीका निकाल लिया है। आपको बता दें कि जिस दिन से अफगानिस्तान में भारत ने अपने टेक्निकल मिशन का दर्जा बढ़ाकर उसे दूतावास बना दिया। उसी दिन से पाकिस्तान तालिबान के पीछे हाथ धोकर पड़ा है। लेकिन तालिबान ने पाकिस्तान को कुचलने के लिए ये ट्रक सड़कों पर दौरा दिए। तालिबान ने इन ट्रकों को एक बड़े कूटनीतिक हथियार की तरह इस्तेमाल किया है। दरअसल, पाकिस्तान को अलग थलग करने के लिए तालिबान ने 30 साल बाद सड़क के रास्ते रूस में 25 टन अनार भेज दिए। 

इसे भी पढ़ें: पहले ठोका, फिर 15 घंटे तक रगड़वाई नाक, फिर भी नहीं माना तालिबान, तुर्किए में पाकिस्तान की हो गई दवाई!

तालिबान द्वारा संचालित कृषि मंत्रालय ने बताया कि कंधार से अनार की पहली खेप सोमवार को रूस को निर्यात की गई, जिसमें 25 मीट्रिक टन अनार उत्तर-पश्चिमी अफ़गानिस्तान में तोरघुंडी सीमा पार से भेजे गए। मंत्रालय ने आगे कहा कि इस पहल का उद्देश्य रूसी आयातकों के साथ दीर्घकालिक वाणिज्यिक संबंध स्थापित करना है। मंत्रालय के अनुसार, लगभग 25,000 डॉलर मूल्य की इस पायलट खेप का उपयोग रूसी बाजार में मांग और रसद व्यवहार्यता का आकलन करने के लिए किया जाएगा। मंत्रालय ने आगे कहा कि यदि प्रारंभिक चरण सफल रहा, तो फसल के मौसम के अंत तक 250 टन तक कंधार अनार रूस को निर्यात किए जाएँगे।

इसे भी पढ़ें: Pakistan के साथ हो गया बड़ा खेल, 25000 सैनिक उठा ले गया सऊदी अरब

कंधार कृषि विभाग के एक तालिबान प्रवक्ता ने कहा कि यह पहली बार है जब हमारे अनार रूसी उपभोक्ताओं तक पहुँच रहे हैं। यह अफ़गानिस्तान के फल निर्यात में विविधता लाने और नए व्यापार गलियारे खोलने की दिशा में एक बड़ा कदम है। दक्षिणी अफ़गानिस्तान, खासकर कंधार के अनार, अपनी गुणवत्ता और स्वाद के लिए प्रसिद्ध हैं। इस बीच, कंधार चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इन्वेस्टमेंट ने पुष्टि की है कि कंधार अनार की पहली खेप प्रांत से रूस भेज दी गई है। चैंबर ने बताया कि इस साल रूस को 200 टन तक अनार निर्यात किए जाने की उम्मीद है। यह घटनाक्रम ऐसे समय में हुआ है जब अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच वाणिज्यिक सीमा पार बंद होने के बाद कंधार से पाकिस्तान को अनार का निर्यात रोक दिया गया है।