कौन हैं फ्रांसेस्का ऑर्सिनी, जिन्हें वैध वीजा होने के बाद भी नहीं मिली भारत में एंट्री
Francesca Orsini news in hindi : लंदन की जानी-मानी हिंदी स्कॉलर फ्रांसेस्का ऑर्सिनी को भारत आने से रोक दिया गया। हांगकांग से दिल्ली आई ऑसिनी के पास 5 साल का वैध ई-वीजा था। दिल्ली हवाई अड्डे पर उन्हें प्रवेश नहीं दिया गया। अब यह घटना की सोशल मीडिया ...
Francesca Orsini news in hindi : लंदन की जानी-मानी हिंदी स्कॉलर फ्रांसेस्का ऑर्सिनी को भारत आने से रोक दिया गया। हांगकांग से दिल्ली आई ऑसिनी के पास 5 साल का वैध ई-वीजा था। दिल्ली हवाई अड्डे पर उन्हें प्रवेश नहीं दिया गया। अब यह घटना की सोशल मीडिया पर काफी तेजी से वायरल हो रही है। विपक्ष ने भी इस मामले में केंद्र सरकार पर हमला बोला है।
ऑर्सिनी चीन में एक अकादमिक सम्मेलन में भाग लेने के बाद हांगकांग से दिल्ली पहुंची थीं। उन्हें इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर ही रोक दिया गया। विपक्ष इस मामले को लेकर केंद्र सरकार पर हमलावर है।
कौन हैं फ्रांसेस्का ऑर्सिनी? : फ्रांसेस्का ऑर्सिनी ने इटली के वेनिस यूनिवर्सिटी से हिंदी से स्नातक की डिग्री हासिल की है। इसके बाद उन्होंने भारत में सेंट्रल इंस्टीट्यूट ऑफ हिंदी और जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी से आगे की पढ़ाई की। बाद में उन्होंने लंदन के SOAS से डॉक्टरेट की उपाधि प्राप्त की।
फिलहाल वह SOAS में भाषाओं, संस्कृतियों और भाषाविज्ञान के स्कूल में हिंदी और दक्षिण एशियाई साहित्य की प्रोफेसर एमरिटा के रूप में कार्यरत हैं। वे कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय में भी अध्यापन कर चुकी हैं। 2017 में, उन्हें ब्रिटिश एकेडमी का फेलो चुना गया, जो मानविकी और सामाजिक विज्ञानों में उत्कृष्टता का प्रतीक है।
Professor Francesca Orsini is a great scholar of Indian literature, whose work has richly illuminated our understanding of our own cultural heritage. To deport her without reason is the mark of a government that is insecure, paranoid, and even stupid.https://t.co/j5Fz1uOphS — Ramachandra Guha (@Ram_Guha) October 21, 2025
ऑर्सिनी को क्यों किया डिपोर्ट : बताया जा रहा है कि ऑर्सिनी को सोमवार को दिल्ली हवाई अड्डे से भारत में प्रवेश करने पर रोक दिया गया। जबकि उनके पास वैध पांच साल की ई-वीजा था। हालांकि भारत सरकार की ओर से इस मामले में कोई स्पष्टिकरण नहीं आया है। कई लोगों ने ऑसिनी को भारत नहीं आने देने पर भारत सरकार की आलोचना कर रहे हैं वहीं कई लोगों का मानना है कि ऑसिनी भारत विरोधी है और भारत सरकार ने उन्हें रोककर सही फैसला किया है।
TMC सांसद ने जताई नाराजगी : टीएमसी सांसद सागरिका घोष ने इस मामले पर मोदी सरकार की आलोचना की। उन्होंने एक्स पर लिखा, 'चौंकाने वाला और दुखद है। फ्रांसेस्का ओरसिनी दक्षिण एशियाई साहित्य और हिंदी की विश्व-प्रसिद्ध विद्वान हैं, जिन्हें उनके वैध वीजा के बावजूद निर्वासित कर दिया गया। संकीर्ण सोच वाली और पिछड़े विचारों वाली नरेंद्र मोदी सरकार उस खुले विचारों वाली विद्वता और उत्कृष्टता को नष्ट कर रही है जिसके लिए भारत हमेशा जाना जाता है।'
edited by : Nrapendra Gupta



