पब्लिक स्कूल, रुद्रपुर में बाल अधिकार जागरूकता कार्यक्रम सफलतापूर्वक आयोजित
पब्लिक स्कूल, रुद्रपुर में बाल अधिकार जागरूकता कार्यक्रम सफलतापूर्वक आयोजित

पब्लिक स्कूल, रुद्रपुर में बाल अधिकार जागरूकता कार्यक्रम सफलतापूर्वक आयोजि
आज "बाल अधिकार जागरूकता कार्यक्रम" का आयोजन आर.ए.एन पब्लिक स्कूल, रुद्रपुर में किया गया, जिसका उद्देश्य बच्चों के अधिकारों की रक्षा और उनके सर्वांगीण विकास के प्रति जागरूकता फैलाना था। इस अवसर पर विभिन्न क्षेत्रों से आए प्रतिष्ठित अतिथियों ने अपने विचार साझा किए और बच्चों के कल्याण में शिक्षा और समुदाय की भूमिका पर प्रकाश डाला। इस कार्यक्रम में अन्य विद्यालयों के छात्रों ने भी भाग लिया और इसे सफल बनाया।
कार्यक्रम का आरंभ प्रिंसिपल श्रीमती भावना भानोट द्वारा सभी गणमान्य अतिथियों का स्वागत करते हुए हुआ। उन्होंने अपने विचार साझा किए और बाल अधिकारों की रक्षा में शिक्षकों की भूमिका पर जोर दिया।
कार्यक्रम में उपस्थित सम्मानित अतिथिगण डॉ. सिंह, अतिरिक्त सीएमओ ने खान बच्चों को स्वस्थ रहने के लिए अपने खान-पान पर ध्यान देने के लिए प्रेरित किया, श्रीमती व्योमा जैन, परिवीक्षा अधिकारी ने बच्चों को सोशल मीडिया पर सोच समझकर पोस्ट डालने के लिए कहा एवं पोक्सो के नियमों के बारे में बताया नशे की बुरी आदत से दूर रहने और अपने सर्वांगीण विकास के लिए खेलकूद में रुचि बढ़ाने के लिए उत्साहित किया, श्रीमती आशा नेगी, जिला कार्यक्रम अधिकारी, जिन्होंने बाल अधिकारों पर अपनी महत्वपूर्ण दृष्टि साझा की, श्री दया शंकर पांडे, ए.एन. झा स्कूल के प्रिंसिपल, जिन्हें बच्चों के हितैषी शिक्षा के प्रति उनकी प्रतिबद्धता के लिए सम्मानित किया गया। इसके अतिरिक्त, श्रीमती गीता खन्ना, chairperson of राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग (SCPCR), ने ऑनलाइन वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से कार्यक्रम में भाग लिया और अपनी विशेषज्ञता व विचार साझा करते हुए सभी को लाभान्वित किया।
कार्यक्रम के अंत में, विद्यालय प्रबंधक श्रीमान मोहित राय जी ने भी अपने विचार प्रस्तुत किए और सभी गणमान्य व्यक्तियों का धन्यवाद किया। साथ ही, प्रिंसिपल श्रीमती भावना भानोट जी ने धन्यवाद प्रस्ताव प्रस्तुत करते हुए सभी उपस्थितजनों का आभार व्यक्त किया।
कार्यक्रम का उद्देश्य शिक्षकों, अभिभावकों और छात्रों को बाल अधिकारों के बारे में जागरूक करना था, जिसमें शिक्षा, सुरक्षा और शोषण से मुक्ति के अधिकार शामिल हैं। वक्ताओं ने स्कूलों की भूमिका पर जोर दिया कि वे बच्चों को एक सुरक्षित और पोषक वातावरण प्रदान करें।
कार्यक्रम का समापन इस प्रतिबद्धता के साथ हुआ कि सभी उपस्थितजन बच्चों के अधिकारों की रक्षा के लिए निरंतर कार्य करेंगे और उनके उज्जवल और समावेशी भविष्य को सुनिश्चित करेंगे।