नोएडा प्राधिकरण के मिला वाटर वॉरियर का अवॉर्ड:दो श्रेणी बेस्ट एसटीपी (पब्लिक) और बेस्ट इंटीग्रेटेड वाटर मैनेजमेंट पब्लिक के लिए दिया गया

नोएडा प्राधिकरण को भारत सरकार और यूनेस्को द्वारा संयुक्त रूप से वर्ड वाटर अवॉर्ड 2024-25 की दो अलग-अलग श्रेणियों में बेस्ट एसटीपी (पब्लिक) कॉमनडेबल और बेस्ट इंटीग्रेटेड वाटर मैनेजमेंट पब्लिक में वाटर वॉरियर के रूप में विजेता चयनित किया गया है। सोमवार को राज्य मंत्री जल शक्ति मंत्रालय भारत सरकार राज भूषण चौधरी ने नोएडा प्राधिकरण को ये अवॉर्ड दिया। अवॉर्ड प्राधिकरण की ओर से एसीईओ सतीश पाल और महाप्रबंधक जल आरपी सिंह ने लिया। ये कार्यक्रम दिल्ली में आयोजित किया गया। इस मौके पर आरपी सिंह ने बताया कि वर्तमान में नोएडा में कुल चार सीवर डिस्ट्रिक्ट के द्वारा 8 सीवेज शोधन संयंत्र काम कर रहे है। सभी संचालित प्लांट की क्षमता 411 एमएलडी की है। सभी प्लांट पर स्टेज-1,2,3 के तहत पूर्ण क्लोरिनेशन के साथ टर्शरी ट्रीटमेंट प्लांट के साथ है। ये सभी सीपीसीबी सर्वर पर ऑनलाइन भी है। इन सभी से कुल 260 एमएलडी का ट्रीटेड वॉटर मिलता है। इसमें 75 एमएलडी पानी का प्रयोग सिंचाई में किया जाता है। सेक्टर-54 में बनाए गए वेटलैंड में 20 एमएलडी ट्रीटेड पानी का प्रयोग किया जाता है। इसके अलावा शहर में जलापूर्ति मांग 415 एमएलडी के सापेक्ष 6 रेनीवेल जो अक्रियाशील थे। उनको विकास कार्य दोबारा से करवाकर 5 रेनीवेल को ठीक किया गया। इससे मिलने वाली पानी का टीडीएस करीब 240 से 400 तक है। इससे 120 एमएलडी पानी मिल रहा है। इसके अलावा बाकी 240 एमएलडी गंगाजल और शेष ट्यूबवेल पानी का प्रयोग किया जा रहा है।

Mar 31, 2025 - 21:47
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नोएडा प्राधिकरण के मिला वाटर वॉरियर का अवॉर्ड:दो श्रेणी बेस्ट एसटीपी (पब्लिक) और बेस्ट इंटीग्रेटेड वाटर मैनेजमेंट पब्लिक के लिए दिया गया
नोएडा प्राधिकरण को भारत सरकार और यूनेस्को द्वारा संयुक्त रूप से वर्ड वाटर अवॉर्ड 2024-25 की दो अलग-अलग श्रेणियों में बेस्ट एसटीपी (पब्लिक) कॉमनडेबल और बेस्ट इंटीग्रेटेड वाटर मैनेजमेंट पब्लिक में वाटर वॉरियर के रूप में विजेता चयनित किया गया है। सोमवार को राज्य मंत्री जल शक्ति मंत्रालय भारत सरकार राज भूषण चौधरी ने नोएडा प्राधिकरण को ये अवॉर्ड दिया। अवॉर्ड प्राधिकरण की ओर से एसीईओ सतीश पाल और महाप्रबंधक जल आरपी सिंह ने लिया। ये कार्यक्रम दिल्ली में आयोजित किया गया। इस मौके पर आरपी सिंह ने बताया कि वर्तमान में नोएडा में कुल चार सीवर डिस्ट्रिक्ट के द्वारा 8 सीवेज शोधन संयंत्र काम कर रहे है। सभी संचालित प्लांट की क्षमता 411 एमएलडी की है। सभी प्लांट पर स्टेज-1,2,3 के तहत पूर्ण क्लोरिनेशन के साथ टर्शरी ट्रीटमेंट प्लांट के साथ है। ये सभी सीपीसीबी सर्वर पर ऑनलाइन भी है। इन सभी से कुल 260 एमएलडी का ट्रीटेड वॉटर मिलता है। इसमें 75 एमएलडी पानी का प्रयोग सिंचाई में किया जाता है। सेक्टर-54 में बनाए गए वेटलैंड में 20 एमएलडी ट्रीटेड पानी का प्रयोग किया जाता है। इसके अलावा शहर में जलापूर्ति मांग 415 एमएलडी के सापेक्ष 6 रेनीवेल जो अक्रियाशील थे। उनको विकास कार्य दोबारा से करवाकर 5 रेनीवेल को ठीक किया गया। इससे मिलने वाली पानी का टीडीएस करीब 240 से 400 तक है। इससे 120 एमएलडी पानी मिल रहा है। इसके अलावा बाकी 240 एमएलडी गंगाजल और शेष ट्यूबवेल पानी का प्रयोग किया जा रहा है।