UPI के जरिए अब EPFO का दावा कर सकेंगे पेंशनभोगी, श्रम सचिव ने दी जानकारी

कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) लेन-देन को आसान और तेज बनाने के लिए यूपीआई (एकीकृत भुगतान इंटरफेस) को अपनाने जा रहा है। श्रम एवं रोजगार सचिव सुमिता डावरा ने बताया है कि हमारी अगली योजना यूपीआई को हमारी प्रणाली में शामिल करने की है। इसका मतलब है कि जल्द ही हम यूपीआई के माध्यम से भुगतान करने में सक्षम होंगे। न्यूज एजेंसी एएनआई से बात करते हुए उन्होंने ये जानकारी दी है। उन्होंने कहा कि भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (एनपीसीआई) से सुझाव मिले हैं और ईपीएफओ को विचार के लिए एक प्रस्ताव भेजा गया है, जिससे यूपीआई के माध्यम से भुगतान करना आसान हो जाएगा। ईपीएफओ ने अपने उद्देश्य को पूरा करने के लिए एक केंद्रीकृत डाटाबेस तैयार किया है। इसके अलावा, आवश्यक परीक्षणों के बाद, मई के अंत तक ईपीएफओ दावों के लिए यूपीआई फ्रंटएंड शुरू हो सकता है। इसका मतलब यह है कि सभी सदस्य अब सीधे यूपीआई इंटरफेस का उपयोग करके अपने ईपीएफओ खाते देख सकते हैं और स्वचालित रूप से दावा कर सकते हैं। यह प्रक्रिया को आसान और तेज बनाता है। इसके अलावा, यदि उपयोगकर्ता पात्र है, तो स्वीकृति प्रक्रिया तुरंत होगी, जिससे उनके खाते में तुरंत पैसा जमा हो जाएगा। सुमिता डावरा ने बताया कि केंद्रीकृत डेटाबेस को स्थिर करने में लगभग 2-3 सप्ताह का समय लगेगा। इसके बाद, यूपीआई एकीकरण के लिए फ्रंटएंड तैयार हो जाएगा और सदस्य इसका उपयोग करने में सक्षम होंगे। उन्होंने बताया कि ईपीएफओ के वर्तमान में लगभग 7.5 करोड़ सक्रिय सदस्य हैं, जो अपने भविष्य निधि खातों का रखरखाव करते हैं और अपनी पेंशन के लिए योगदान करते हैं। उन्होंने बताया कि ईपीएफओ ने कई सुधार किए हैं। इसमें एक लाख रुपये तक के दावों को स्वचालित करना, स्व-सुधार तंत्र शुरू करना, अनावश्यक प्रक्रियाओं को समाप्त करना शामिल है। इसके अलावा, हमने डेटाबेस को इकट्ठा किया है, जिससे दावा प्रसंस्करण का समय काफी कम हो गया है और अब यह केवल तीन दिनों में पूरा हो जाता है। ईपीएफओ में लगभग 78 लाख पेंशनभोगी हैं, लेकिन पहले केवल कुछ चुनिंदा बैंकों को ही पेंशन वितरण की जिम्मेदारी दी गई थी।

Mar 27, 2025 - 13:08
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कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) लेन-देन को आसान और तेज बनाने के लिए यूपीआई (एकीकृत भुगतान इंटरफेस) को अपनाने जा रहा है। श्रम एवं रोजगार सचिव सुमिता डावरा ने बताया है कि हमारी अगली योजना यूपीआई को हमारी प्रणाली में शामिल करने की है। इसका मतलब है कि जल्द ही हम यूपीआई के माध्यम से भुगतान करने में सक्षम होंगे। न्यूज एजेंसी एएनआई से बात करते हुए उन्होंने ये जानकारी दी है।
 
उन्होंने कहा कि भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (एनपीसीआई) से सुझाव मिले हैं और ईपीएफओ को विचार के लिए एक प्रस्ताव भेजा गया है, जिससे यूपीआई के माध्यम से भुगतान करना आसान हो जाएगा। ईपीएफओ ने अपने उद्देश्य को पूरा करने के लिए एक केंद्रीकृत डाटाबेस तैयार किया है। इसके अलावा, आवश्यक परीक्षणों के बाद, मई के अंत तक ईपीएफओ दावों के लिए यूपीआई फ्रंटएंड शुरू हो सकता है।
 
इसका मतलब यह है कि सभी सदस्य अब सीधे यूपीआई इंटरफेस का उपयोग करके अपने ईपीएफओ खाते देख सकते हैं और स्वचालित रूप से दावा कर सकते हैं। यह प्रक्रिया को आसान और तेज बनाता है। इसके अलावा, यदि उपयोगकर्ता पात्र है, तो स्वीकृति प्रक्रिया तुरंत होगी, जिससे उनके खाते में तुरंत पैसा जमा हो जाएगा।
 
सुमिता डावरा ने बताया कि केंद्रीकृत डेटाबेस को स्थिर करने में लगभग 2-3 सप्ताह का समय लगेगा। इसके बाद, यूपीआई एकीकरण के लिए फ्रंटएंड तैयार हो जाएगा और सदस्य इसका उपयोग करने में सक्षम होंगे। उन्होंने बताया कि ईपीएफओ के वर्तमान में लगभग 7.5 करोड़ सक्रिय सदस्य हैं, जो अपने भविष्य निधि खातों का रखरखाव करते हैं और अपनी पेंशन के लिए योगदान करते हैं।
 
उन्होंने बताया कि ईपीएफओ ने कई सुधार किए हैं। इसमें एक लाख रुपये तक के दावों को स्वचालित करना, स्व-सुधार तंत्र शुरू करना, अनावश्यक प्रक्रियाओं को समाप्त करना शामिल है। इसके अलावा, हमने डेटाबेस को इकट्ठा किया है, जिससे दावा प्रसंस्करण का समय काफी कम हो गया है और अब यह केवल तीन दिनों में पूरा हो जाता है। ईपीएफओ में लगभग 78 लाख पेंशनभोगी हैं, लेकिन पहले केवल कुछ चुनिंदा बैंकों को ही पेंशन वितरण की जिम्मेदारी दी गई थी।