अल-फलाह यूनिवर्सिटी की VC-स्टूडेंट्स में तीखी नोकझोंक:स्टूडेंट बोले- यूनिवर्सिटी का नाम बदलें, बदनामी हो रही; आतंकी मॉड्यूल का अड्डा बनी
दिल्ली में लाल किले के सामने हुए कार ब्लास्ट के बाद से हरियाणा के फरीदाबाद की अल-फलाह यूनिवर्सिटी जांच के घेरे में है। इससे यूनिवर्सिटी प्रबंधन की मुश्किलें लगातार बढ़ रही हैं। अब स्टूडेंट्स और पेरेंट्स यूनिवर्सिटी का नाम बदलने से लेकर फीस वापसी तक की मांग कर रहे हैं। मामला बढ़ता देख वाइस चांसलर भूपिंदर कौर आनंद MBBS कर रहे स्टूडेंट्स को समझाने पहुंचीं। इस दौरान स्टूडेंट्स ने VC के साथ खूब बहस की। इस नोकझोंक की 40 मिनट की एक ऑडियो रिकॉर्डिंग स्टूडेंट्स ने वायरल की है। कुछ स्टूडेंट्स ने बताया कि VC ने धमकाने के अंदाज में स्टूडेंट्स को वीडियो रिकॉर्ड करने से रोक दिया था। दरअसल, यूनिवर्सिटी की फार्माकोलॉजिस्ट डॉ. शाहीन सईद, सर्जन डॉ. मुजम्मिल शकील और दिल्ली में सुसाइड बॉम्बर बने मेडिसिन डिपार्टमेंट के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. उमर नबी जैसे आतंकी मॉड्यूल का सेंटर बनने के कारण यूनिवर्सिटी लगातार चर्चा में है। NIA समेत अन्य जांच एजेंसियां यहां लगातार आ-जा रही हैं। स्टूडेंट्स पेरेंट्स में भय का माहौल
शनिवार को 25 से अधिक पेरेंट्स ने यूनिवर्सिटी पहुंचकर बच्चों के भविष्य की चिंता जताई। फैकल्टी के साथ-साथ खुद VC भी यूनिवर्सिटी के स्टूडेंट्स को समझा रही हैं। उन्हें बता रही हैं कि अभी माहौल अलग है। जब तक कोई ऑफिशियल ऑर्डर नहीं आता, तब तक कोई चिंता की बात नहीं है। VC बच्चों को यह भी कह रही हैं कि जांच एजेंसियां लगी हुई हैं, जो भी होगा फेयर ही होगा। यूनिवर्सिटी की ओर से स्टूडेंट्स को भी सख्त हिदायत है कि मीडिया से दूरी बनाएं। स्टूडेंट्स ने स्वास्थ्य मंत्री द्वारा अल-फलाह यूनिवर्सिटी के बारे में दिए गए बयान को लेकर भी सवाल उठाया। पूरे बयान को क्लास में प्ले कर सुना गया। स्टूडेंट्स ने VC से कहा कि यूनिवर्सिटी की ओर से प्रेस कॉन्फ्रेंस करनी चाहिए। अब पढ़िए ऑडियो में स्टूडेंट्स VC से कैसे-कैसे तीखे सवाल कर रहे... VC: VC क्लास में एंट्री करती हैं और स्टूडेंट्स के फोन बाहर देखकर डांटती हैं- ये फोन बंद करो, कुछ फर्क नहीं पड़ने वाला इससे। आप डॉक्टर्स हैं, क्या कर रहे हैं? आपको एड्रेस करने आई हूं। मैं कभी इमेजिन नहीं कर सकती कि आप लोग फोन उठा के वीडियो बना रहे हो। इतनी हिम्मत है आप में? आपका दिमाग तो बहुत तेज चल रहा है। VC: ये बहुत ही रेअर इस्टेब्लिस्ड कॉलेज है। बच्चे बहुत हैं, लेकिन अब सब कुछ यहां सही चल रहा है। किसी जमाने में होती थी, जहां पर दो बैच होते थे, लेकिन उसके भी साइड इफेक्ट होते थे, जिसमें बच्चों को अटेंडेंट्स रिलेटेड समस्याएं झेलनी पड़ती थीं। बच्चों को कहीं भी ट्रांसफर कर देते थे, उनके जॉब और करियर को स्टेब्लिश होने में दिक्कत आती थी। इश्यू होते थे कि पुराने कॉलेज से अटेंडेंस पूरी नहीं मिल पाती थी। VC : हमारी यूनिवर्सिटी में सिक्योरिटी भी थी, लेकिन ये चीजें हमारे पकड़ में नहीं आई कि ये सब हो रहा है। अभी कॉलेज को लेकर जांच की जा रही है। मैं नहीं जानती क्या होने वाला है, लेकिन यूनिवर्सिटी में इतनी ज्यादा स्ट्रेंथ है कि कोई और इसकी जिम्मेदारी लेने में असमर्थ होगा। ये घटना इतनी बड़ी है कि मेरी कहानियां नहीं काम आएंगी। इसमें हायर अथॉरिटी से अलग ही फेयर डिसीजन लिया जाएगा। स्टूडेंट्स : मैम हमारी सिक्योरिटी का क्या होगा ..बॉयज हॉस्टल की चेकिंग हो गई, गर्ल्स की क्यों नहीं हुई? VC: क्या गर्ल्स हॉस्टल में चेकिंग नहीं हुई?
स्टूडेंट्स : मैम लास्ट थर्सडे को NAAC से एक शोकॉज नोटिस आया था और उसमें 7 पॉइंट्स दिए थे कॉलेज को और एक सप्ताह का समय दिया था। क्या आपने उसका आंसर दिया था? VC : हम ऐसे नोटिस को भूल जाते हैं। (उसके बाद स्टूडेंट्स आपस में फुसफुसाते हुए सुनते हैं।) जो NAAC है वह सभी यूनिवर्सिटी में होता है और नॉन मेडिकल में ज्यादातर होता है। हमारा NAAC जो है, वो कुछ समय पहले एक्सपायर हो गया था। वहीं उसके अप्लाई करने के कुछ रूल्स चेंज हो गए थे, जिसके लिए हम वेट कर रहे थे और हम ट्राई कर रहे हैं। NAAC का मेडिकल पर तो कोई असर नहीं पड़ेगा, यूनिवर्सिटी पर असर पड़ेगा।
स्टूडेंट्स : ये बताएं शोकॉज नोटिस का क्या जवाब दिया? VC : NAAC के बारे में विस्तार से बताने लगी तो स्टूडेंट्स ने टोका। स्टूडेंट्स ने VC को तीसरा पॉइंट पढ़कर सुनाया। VC ने स्टूडेंट्स की बात को इग्नोर कर दिया और यूनिवर्सिटी की वेबसाइट को लेकर बात करने लगी। AIU की मेंबरशिप जाने पर सवाल
स्टूडेंट्स ने ऑल इंडिया यूनिवर्सिटी एसोसिएशन (AIU) की मेंबरशिप जाने को लेकर भी सवाल किया। इस पर VC ने कहा कि हमारे पास AIU की मेंबरशिप नहीं है। यूनिवर्सिटी से टेररिज्म एक्टीविटी से जुड़े लोग पकड़े गए हैं, जिसका असर हमारी सपोर्ट पर पड़ेगा, लेकिन हम अभी ठीक स्थान पर हैं, सब ठीक चल रहा है और जांच में सब फेयर ही होगा। VC : वैसे यहां ये सब नहीं होता तो भी क्या अल फलाह के नाम से प्रॉब्लम थी?
स्टूडेंट्स: नहीं मैम हमें कोई प्रॉब्लम नहीं थी। VC: (एग्रेसिव होते हुए) क्या कभी किसी ने एड्रेस डाला हो और पाकिस्तान का एड्रेस आ गया हो?
स्टूडेंट्स : नहीं मैम, एड्रेस में फरीदाबाद ही आता है। VC : अल फलाह के नाम से कोई प्रॉब्लम नहीं है।
स्टूडेंट्स अब फर्क पड़ रहा है। अल फलाह के नाम से प्रॉब्लम है। अल फलाह का नाम बदलना चाहिए। पेरेंट्स ने यूनिवर्सिटी प्रबंधन से पूछा - ऐसे डॉक्टर क्यों रखे
यूनिवर्सिटी में पढ़ने वाले छात्रों के अभिभावकों के एक प्रतिनिधिमंडल ने शनिवार को प्रबंधन से मुलाकात की। प्रतिनिधिमंडल की ओर से मांग पत्र सौंपते हुए तीखे सवाल पूछे गए। अभिभावकों ने कहा कि प्रबंधन ने ऐसे डॉक्टरों की नियुक्ति देकर उनके छात्रों के भविष्य को दांव पर क्यों लगाया? अगर यूनिवर्सिटी की मान्यता को रद्द कर दिया गया तो उनके बच्चों का क्या होगा। बच्चों को डॉक्टर बनाने के लिए मोटी रकम खर्च की है। प्रबंधन का दावा- मान्यता पर कोई खतरा नहीं
यूनिवर्सिटी मैनेजमेंट का कहना है कि यूनिवर्सिटी की मान्यता को कोई खतरा नहीं है। उन्होंने यह भी बताया कि दिल्
दिल्ली में लाल किले के सामने हुए कार ब्लास्ट के बाद से हरियाणा के फरीदाबाद की अल-फलाह यूनिवर्सिटी जांच के घेरे में है। इससे यूनिवर्सिटी प्रबंधन की मुश्किलें लगातार बढ़ रही हैं। अब स्टूडेंट्स और पेरेंट्स यूनिवर्सिटी का नाम बदलने से लेकर फीस वापसी तक की मांग कर रहे हैं। मामला बढ़ता देख वाइस चांसलर भूपिंदर कौर आनंद MBBS कर रहे स्टूडेंट्स को समझाने पहुंचीं। इस दौरान स्टूडेंट्स ने VC के साथ खूब बहस की। इस नोकझोंक की 40 मिनट की एक ऑडियो रिकॉर्डिंग स्टूडेंट्स ने वायरल की है। कुछ स्टूडेंट्स ने बताया कि VC ने धमकाने के अंदाज में स्टूडेंट्स को वीडियो रिकॉर्ड करने से रोक दिया था। दरअसल, यूनिवर्सिटी की फार्माकोलॉजिस्ट डॉ. शाहीन सईद, सर्जन डॉ. मुजम्मिल शकील और दिल्ली में सुसाइड बॉम्बर बने मेडिसिन डिपार्टमेंट के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. उमर नबी जैसे आतंकी मॉड्यूल का सेंटर बनने के कारण यूनिवर्सिटी लगातार चर्चा में है। NIA समेत अन्य जांच एजेंसियां यहां लगातार आ-जा रही हैं। स्टूडेंट्स पेरेंट्स में भय का माहौल
शनिवार को 25 से अधिक पेरेंट्स ने यूनिवर्सिटी पहुंचकर बच्चों के भविष्य की चिंता जताई। फैकल्टी के साथ-साथ खुद VC भी यूनिवर्सिटी के स्टूडेंट्स को समझा रही हैं। उन्हें बता रही हैं कि अभी माहौल अलग है। जब तक कोई ऑफिशियल ऑर्डर नहीं आता, तब तक कोई चिंता की बात नहीं है। VC बच्चों को यह भी कह रही हैं कि जांच एजेंसियां लगी हुई हैं, जो भी होगा फेयर ही होगा। यूनिवर्सिटी की ओर से स्टूडेंट्स को भी सख्त हिदायत है कि मीडिया से दूरी बनाएं। स्टूडेंट्स ने स्वास्थ्य मंत्री द्वारा अल-फलाह यूनिवर्सिटी के बारे में दिए गए बयान को लेकर भी सवाल उठाया। पूरे बयान को क्लास में प्ले कर सुना गया। स्टूडेंट्स ने VC से कहा कि यूनिवर्सिटी की ओर से प्रेस कॉन्फ्रेंस करनी चाहिए। अब पढ़िए ऑडियो में स्टूडेंट्स VC से कैसे-कैसे तीखे सवाल कर रहे... VC: VC क्लास में एंट्री करती हैं और स्टूडेंट्स के फोन बाहर देखकर डांटती हैं- ये फोन बंद करो, कुछ फर्क नहीं पड़ने वाला इससे। आप डॉक्टर्स हैं, क्या कर रहे हैं? आपको एड्रेस करने आई हूं। मैं कभी इमेजिन नहीं कर सकती कि आप लोग फोन उठा के वीडियो बना रहे हो। इतनी हिम्मत है आप में? आपका दिमाग तो बहुत तेज चल रहा है। VC: ये बहुत ही रेअर इस्टेब्लिस्ड कॉलेज है। बच्चे बहुत हैं, लेकिन अब सब कुछ यहां सही चल रहा है। किसी जमाने में होती थी, जहां पर दो बैच होते थे, लेकिन उसके भी साइड इफेक्ट होते थे, जिसमें बच्चों को अटेंडेंट्स रिलेटेड समस्याएं झेलनी पड़ती थीं। बच्चों को कहीं भी ट्रांसफर कर देते थे, उनके जॉब और करियर को स्टेब्लिश होने में दिक्कत आती थी। इश्यू होते थे कि पुराने कॉलेज से अटेंडेंस पूरी नहीं मिल पाती थी। VC : हमारी यूनिवर्सिटी में सिक्योरिटी भी थी, लेकिन ये चीजें हमारे पकड़ में नहीं आई कि ये सब हो रहा है। अभी कॉलेज को लेकर जांच की जा रही है। मैं नहीं जानती क्या होने वाला है, लेकिन यूनिवर्सिटी में इतनी ज्यादा स्ट्रेंथ है कि कोई और इसकी जिम्मेदारी लेने में असमर्थ होगा। ये घटना इतनी बड़ी है कि मेरी कहानियां नहीं काम आएंगी। इसमें हायर अथॉरिटी से अलग ही फेयर डिसीजन लिया जाएगा। स्टूडेंट्स : मैम हमारी सिक्योरिटी का क्या होगा ..बॉयज हॉस्टल की चेकिंग हो गई, गर्ल्स की क्यों नहीं हुई? VC: क्या गर्ल्स हॉस्टल में चेकिंग नहीं हुई?
स्टूडेंट्स : मैम लास्ट थर्सडे को NAAC से एक शोकॉज नोटिस आया था और उसमें 7 पॉइंट्स दिए थे कॉलेज को और एक सप्ताह का समय दिया था। क्या आपने उसका आंसर दिया था? VC : हम ऐसे नोटिस को भूल जाते हैं। (उसके बाद स्टूडेंट्स आपस में फुसफुसाते हुए सुनते हैं।) जो NAAC है वह सभी यूनिवर्सिटी में होता है और नॉन मेडिकल में ज्यादातर होता है। हमारा NAAC जो है, वो कुछ समय पहले एक्सपायर हो गया था। वहीं उसके अप्लाई करने के कुछ रूल्स चेंज हो गए थे, जिसके लिए हम वेट कर रहे थे और हम ट्राई कर रहे हैं। NAAC का मेडिकल पर तो कोई असर नहीं पड़ेगा, यूनिवर्सिटी पर असर पड़ेगा।
स्टूडेंट्स : ये बताएं शोकॉज नोटिस का क्या जवाब दिया? VC : NAAC के बारे में विस्तार से बताने लगी तो स्टूडेंट्स ने टोका। स्टूडेंट्स ने VC को तीसरा पॉइंट पढ़कर सुनाया। VC ने स्टूडेंट्स की बात को इग्नोर कर दिया और यूनिवर्सिटी की वेबसाइट को लेकर बात करने लगी। AIU की मेंबरशिप जाने पर सवाल
स्टूडेंट्स ने ऑल इंडिया यूनिवर्सिटी एसोसिएशन (AIU) की मेंबरशिप जाने को लेकर भी सवाल किया। इस पर VC ने कहा कि हमारे पास AIU की मेंबरशिप नहीं है। यूनिवर्सिटी से टेररिज्म एक्टीविटी से जुड़े लोग पकड़े गए हैं, जिसका असर हमारी सपोर्ट पर पड़ेगा, लेकिन हम अभी ठीक स्थान पर हैं, सब ठीक चल रहा है और जांच में सब फेयर ही होगा। VC : वैसे यहां ये सब नहीं होता तो भी क्या अल फलाह के नाम से प्रॉब्लम थी?
स्टूडेंट्स: नहीं मैम हमें कोई प्रॉब्लम नहीं थी। VC: (एग्रेसिव होते हुए) क्या कभी किसी ने एड्रेस डाला हो और पाकिस्तान का एड्रेस आ गया हो?
स्टूडेंट्स : नहीं मैम, एड्रेस में फरीदाबाद ही आता है। VC : अल फलाह के नाम से कोई प्रॉब्लम नहीं है।
स्टूडेंट्स अब फर्क पड़ रहा है। अल फलाह के नाम से प्रॉब्लम है। अल फलाह का नाम बदलना चाहिए। पेरेंट्स ने यूनिवर्सिटी प्रबंधन से पूछा - ऐसे डॉक्टर क्यों रखे
यूनिवर्सिटी में पढ़ने वाले छात्रों के अभिभावकों के एक प्रतिनिधिमंडल ने शनिवार को प्रबंधन से मुलाकात की। प्रतिनिधिमंडल की ओर से मांग पत्र सौंपते हुए तीखे सवाल पूछे गए। अभिभावकों ने कहा कि प्रबंधन ने ऐसे डॉक्टरों की नियुक्ति देकर उनके छात्रों के भविष्य को दांव पर क्यों लगाया? अगर यूनिवर्सिटी की मान्यता को रद्द कर दिया गया तो उनके बच्चों का क्या होगा। बच्चों को डॉक्टर बनाने के लिए मोटी रकम खर्च की है। प्रबंधन का दावा- मान्यता पर कोई खतरा नहीं
यूनिवर्सिटी मैनेजमेंट का कहना है कि यूनिवर्सिटी की मान्यता को कोई खतरा नहीं है। उन्होंने यह भी बताया कि दिल्ली ब्लास्ट के बाद हरियाणा सरकार के कुछ लोगों ने यूनिवर्सिटी का दौरा किया था और कुछ कागजात लिए थे। अभी तक उन लोगों ने कोई रिपोर्ट नहीं दी है। अगर मान्यता को लेकर कोई बुरी खबर होती, तो अब तक आ जाती। अल्पसंख्यक दर्जा खत्म होने को लेकर नोटिस जारी किया
दिल्ली ब्लास्ट में अल फलाह यूनिवर्सिटी का नाम आने के बाद राष्ट्रीय अल्पसंख्यक शैक्षणिक संस्थान आयोग (NCMEI) ने यूनिवर्सिटी को नोटिस भेजा है। आयोग ने यूनिवर्सिटी से पूछा है कि जब दिल्ली ब्लास्ट में आतंकवादियों का सीधा संबंध सामने आया है, तो क्यों न यूनिवर्सिटी का अल्पसंख्यक दर्जा रद्द कर दिया जाए। इस मामले पर 4 दिसंबर को सुनवाई होगी, जिसमें यूनिवर्सिटी को अपना पक्ष रखना होगा। 25 से अधिक डॉक्टर यूनिवर्सिटी से बाहर गए
शनिवार को यूनिवर्सिटी से 25 से ज़्यादा डॉक्टर छुट्टी लेकर अपने घर चले गए। उन्होंने बताया कि वो सब सोमवार को वापस आ जाएंगे। शनिवार को आधा दिन होने की वजह से वो घर जा रहे हैं। यूनिवर्सिटी में कश्मीरी डॉक्टरों की संख्या अच्छी खासी है। --------------------- ये खबर भी पढ़ें... देश में 5 ब्लास्ट करने वाला भी अल–फलाह का स्टूडेंट:2007 में बीटेक किया, उसी साल गोरखपुर में धमाका, अब तक फरार देश में 5 बार ब्लास्ट करने वाला आतंकी मिर्जा शादाब बेग भी फरीदाबाद की अल–फलाह यूनिवर्सिटी का ही स्टूडेंट है। ये खुलासा दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल की रिपोर्ट से हुआ है, जिसकी कॉपी भास्कर के पास है। 10 नवंबर को दिल्ली के लाल किला के पास ब्लास्ट करने वाला आतंकी डॉ उमर नबी भी यहां प्रोफेसर था। (पूरी खबर पढ़ें)